itya sangrah - हिन्दी व्याकरण - भारतीय साहित्य...

4
Hindi / English >> य रिहत प तक >> िहदी ाकरण अयाय 24 वाय-करण वाय- एक िवचार को प ता स कट करन वाला शद-सम ह वाय कहलाता ह । ज - 1. याम द ध पी रहा ह । 2. म भागत -भागत थक गया। 3. यह कतना स दर उपवन ह । 4. ओह ! आज तो गरमी क कारण ाण िनकल जा रह । 5. वह हनत करता तो पास हो जाता। सभी म ख स िनकलन वाली साथ क विनय क सम ह ह । अतः य वाय ह । वाय भाषा का चरम अवयव ह वाय-ख वाय क ख दो ख ड ह - 1. उ य। 2. िवध य। 1. उ य- िजसक िवषय म छ कहा जाता ह उस चक करन वाल शद को उ य कहत । ज - 1. अज न न जयथ को मारा। 2. क ा भक रहा ह 3. तोता डाल पर ब ठा ह इनम अज न न , क ा, तोता उ य ह ; इनक िवषय म छ कहा गया ह । अथवा य कह सकत क वाय म जो कता हो उस य कह सकत यक कसी या को करन कारण वही म य होता ह 2. िवध य- उ य क िवषय म जो क छ कहा जाता ह , अथवा उ य (कता ) जो क छ काय करता ह वह सब िवध य कहलाता ह - 1. अज न न जयथ को मारा। 2. क ा भक रहा ह 3. तोता डाल पर ब ठा ह इनम ‘जयथ को मारा’, ‘भक रहा ह ’, ‘डाल पर ब ठा ह ’ िवध य ह यक अज न न , क ा, तोता,-इन उ य (कता ) क काय क िवषय म मशः मारा, भक रहा ह , ब ठा ह , य िवधान कए गए ह , अतः इह िवध य कहत य का िवतार- कई बार वाय म उसका परचय द वाल अय शद भी साथ आए होत । य अय शद उ य का िवतार कहलात । ज - 1. स दर पी डाल पर ब ठा ह 2. काला सा प प ड़ क नीच ठा ह इनम दर और काला शद उ य का िवतार ह य म िनिलिखत शद-भ द का योग होता ह - (1) स ा- घोड़ा भागता ह (2) सव नाम- वह जाता ह (3) िवश षण- िवान क सव जा होती ह (4) या-िवश षण- (िजसका) भीतर-बाहर एक-सा हो। (5) वाया श- झ ठ बोलना पाप ह वाय क साधारण उ य म िवश षणाद जोड़कर उसका िवतार करत । उ य का िवतार नीच िलख शद क ारा कट होता ह - (1) िवश षण स - अछा बालक आा का पालन करता ह (2) स ध कारक स - दश क क भीड़ न उस र िलया। (3) वाया श स - काम सीखा आ कारीगर कठनाई स िमलता ह िवध य का िवतार- म ल िवध य को प करन िलए िजन शद का योग कया जाता ह िवध य का िवतार कहलात -वह अपन न स िलखता ह । इसम अपन िवध य का िवतार ह कम का िवतार- इसी तरह कम का िवतार हो सकता ह । ज -िम, अछी प तक पढ़ो। इसम अछी कम का िवतार ह या का िवतार- इसी तरह या का भी िवतार हो सकता ह । ज - य मन लगाकर पढ़ता ह । मन लगाकर या का िवतार ह वाय-भ रचना क अन सार वाय क िनिलिखत भ द ह -

Upload: sablu-khan

Post on 11-Nov-2015

27 views

Category:

Documents


10 download

TRANSCRIPT

  • 24/04/2015 HindiVyakaranAHindiBookbyBhartiyaSahityaSangrah

    http://pustak.org/bs/home.php?bookid=4883&act=continue&index=24&booktype=free#24. 1/4

    Hindi/English

    >> >>

    24

    -

    - - - 1. 2. - 3. 4. ! 5.

    -

    -1. 2. 1. - -1. 2. 3. , , ; 2. - , () - 1. 2. 3. , , , , ,- () , , , , - -1. 2. - -(1) - (2) - (3) - (4) -- () - - (5) - -(1) - (2) - (3) - - - - -, - -

    -

    -

  • 24/04/2015 HindiVyakaranAHindiBookbyBhartiyaSahityaSangrah

    http://pustak.org/bs/home.php?bookid=4883&act=continue&index=24&booktype=free#24. 2/4

    1. 2. 3.

    1.

    () , - 1. 2. 3. - - -

    2.

    - (, , , ) , (1) - - (2) - - (3) - - (4) - -

    3.

    - (1) (2) , , -(1) (2) (3) - 1. - - , 2. - - 3. - - - - -

    -

    - (1) - 1. 2. 3. 4. 5. (2) - 1. 2. 3.

  • 24/04/2015 HindiVyakaranAHindiBookbyBhartiyaSahityaSangrah

    http://pustak.org/bs/home.php?bookid=4883&act=continue&index=24&booktype=free#24. 3/4

    4. 5. (3) - 1. 2. 3. 4. - (4) - 1. 2. 3. ? 4. 5. ,

    -

    - - - 1. 2. 3. , , 1. - - -2. - - 3. -1. 2. - - 3. 4. 5. -1. 2. 3.

    -1. 2. 3. 4. 5. 6. 7. 8. 1. - - 2. - - 3. - -

  • 24/04/2015 HindiVyakaranAHindiBookbyBhartiyaSahityaSangrah

    http://pustak.org/bs/home.php?bookid=4883&act=continue&index=24&booktype=free#24. 4/4

    4. - - 5. - - 6. - - 7. - - 8. - - !

    ... |....